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🌿 एक विशेष आमंत्रण, एक विशेष अनुभव 🌿

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  रविवार को SHANTI MISSION ACADEMY, Mohanpur, Punaichak, Patna द्वारा आयोजित निशुल्क चिकित्सा शिविर में शामिल होना मेरे लिए एक अत्यंत सुखद और स्मरणीय अनुभव रहा । यह उपस्थिति मेरे लिए और भी विशेष रही क्योंकि मुझे वहाँ मेरी अर्धांगिनी , विद्यालय की प्रधानाध्यापिका श्रीमती रतना पाल जी के विशेष आमंत्रण पर उपस्थित होने का सौभाग्य प्राप्त हुआ। जब आमंत्रण स्नेह से आए और उद्देश्य जनसेवा का हो — तो वह क्षण केवल उपस्थिति नहीं , बल्कि एक आत्मीय जुड़ाव बन जाता है ।  इस सेवा शिविर में 500 से अधिक स्थानीय लोगों का स्वास्थ्य परीक्षण विशेषज्ञ डॉक्टरों द्वारा किया गया और उन्हें नि:शुल्क एलोपैथिक दवाएं भी प्रदान की गईं । लेकिन जो इसे और भी विशेष बनाता है , वह है इस आयोजन के पीछे की प्रेरणा और नेतृत्व ।  इस शिविर की सफलता के पीछे थीं मेरी अर्धांगिनी , प्रधानाध्यापिका श्रीमती रतना पाल जी , जिनके मार्गदर्शन , समर्पण और मानवीय संवेदना ने इस आयोजन को सिर्फ एक सेवा नहीं , बल्कि एक संवेदनशील समाज निर्माण की दिशा में कदम बना दिया । उनके साथ-साथ SHANTI MISSION ACADEMY के सभी शिक्षकगण , ...

हिन्दी कार्यशाला का आयोजन

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क्षेत्रीय निदेशालय राष्ट्रीय सेवा योजना , युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय भारत सरकार , पटना कार्यालय में राजभाषा हिन्दी के कार्यान्वयन को गति देने के उद्देश्य से हिन्दी कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला की अध्यक्षता श्री गिरधर उपाध्याय , सहायक कार्यक्रम सलाहकार राष्ट्रीय सेवा योजना , युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय भारत सरकार महोदय के द्वारा किया गया। मुख्य अतिथि के रूप में श्री डॉ0 विनोद कुमार सिंह , अनुसंधान पदाधिकारी , जनगणनाकार्य निदेशालय बिहार , पटना उपस्थित थे. इस अवसर पर अन्य वरीय अधिकारी कर्मचारी उपस्थित थे। कार्यशाला में श्रीमति दीपक चौहान ने आगन्तुकों का स्वागत किया। इसके पश्चात श्री दीपक मंडल ने राजभाषा कार्यान्वयन की प्रगति पर एक प्रतिवेदन प्रस्तुत किया। मुख्य श्री डॉ0 विनोद कुमार सिंह ने प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए कहा कि सरकार की राजभाषा नीति के अनुरूप विभागीय कार्यो में अधिकाधिक हिन्दी के उपयोग के लिए हर संभव प्रयास किए जाने चाहिए। उन्होंने राजभाषा प्रयोग में निर्धारित लक्ष्यों की पूर्ति सुनिश्चित करने का संदेश प्रतिभागियों को दिया तथा उन्हें सरल हिन्दी का प्...
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   दृश्य श्रीमान ओम शंकर दुवे जी विवाह का |    हमारी परम्परा में विवाह एक महत्त्वपूर्ण संस्कार है । लड़का हो अथवा लड़की , दोनों की ही शादी यथा सम्भव धूमधाम से सम्पन्न होती है । प्रत्येक माता - पिता यथा शक्ति और कभी - कभी सीमा से बाहर जाकर भी खर्च करते हैं । नव्यता और भव्यता आज के समाज का अभिन्न अंग हैं । इसलिए विवाह शादियों में शान - शौकत का प्रदर्शन और तड़क - भड़क खूब रहती हैं । पिछले सप्ताह मुझे एक परिचित की शादी में जाने   का अवसर मिला वर्धमान पश्चिम बंगाल   कोलकता के भी   मित्र साथ थे । विवाह स्थल वर्धमान मेरेज हाल था   कोलकाता दिल्ली उच्य राज्य मार्ग के   निकट व्यवस्थित ,  आकर्षित   पार्क था । पूरे पार्क में लम्बा - चौड़ा पण्डाल सजा था । विवाह स्थल के मुख्य द्वार को किले का रूप दिया गया था । द्वार के बाहर वारिश की   भीनी - भीनी बूंदें भी बरस रही थीं । पंडाल में कालीन बिछे हुए थे । गोल ...